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Haryana : हरियाणा के CM सैनी का बड़ा फैसला, 50 साल पुराने नियमों में किया बड़ा बदलाव

हरियाणा से एक दमदार (breaking) खबर आ रही है। प्रदेश के मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी ने वो कर दिखाया, जिसकी कॉलोनी वासी बरसों से आस लगाए बैठे थे।

हरियाणा से बड़ी खबर आ रही है जिसमें मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी ने प्रदेश के शहरों और कस्बों में बसे कॉलोनी वासियों के लिए 50 साल पुराने एक नियम में बड़ा बदलाव किया है। यह बदलाव उन लोगों के लिए राहत लेकर आया है जिन्होंने पहले आंशिक समापन प्रमाणपत्र (Completion Certificate) हासिल किया था। अब, उनकी ज़िंदगी थोड़ी और आसान हो गई है क्योंकि सरकार ने कॉलोनियों को समापन प्रमाणपत्र लेने की अनिवार्यता समाप्त कर दी है।

शहरों और कस्बों में बसी ये कॉलोनियाँ अब सरकार के ‘सर्टिफिकेट रेट’ से बच सकेंगी। जी हां, सालों पुरानी कॉलोनियों को अब नए सिरे से समापन प्रमाणपत्र (Completion Certificate) लेने की जरूरत नहीं है। अब आप सोच रहे होंगे, “क्या! यह कैसे हुआ?” तो जवाब है यह सब मुख्यमंत्री के ‘बड़े दिल’ और ‘नए सोच’ के कारण हुआ है।

50 साल पुराना नियम हुआ ऑल्ड

हरियाणा सरकार ने बुनियादी सुविधाओं की प्राप्ति और विकास कार्यों में तेजी लाने के लिए 50 साल पुराने नियमों में बदलाव किया है। अब यह बदलाव उन कॉलोनी वासियों के लिए वरदान बन गया है जिनकी कॉलोनियाँ पहले से बसी हुई थीं। ‘सर्टिफिकेट की लाइन’ अब खत्म हो चुकी है और यह बदलाव सीधे तौर पर नागरिकों की सुविधा में सुधार करने के लिए किया गया है।

सैनी जी का कहना है “अगर किसी कॉलोनी में पहले से समापन प्रमाणपत्र जारी किया गया था तो उन्हें फिर से यह प्रक्रिया नहीं करनी पड़ीगी।” यह बदलाव ऐसे लोगों के लिए तो ‘सोनें पे सुहागा’ जैसा है जो लंबे समय से इस ‘सर्टिफिकेट के झंझट’ से परेशान थे।

विधि विभाग की ओर से नोटिफिकेशन जारी

अब बात करते हैं उस विधिक प्रक्रिया की जो इस बदलाव के पीछे है। हरियाणा सरकार ने विधि और विधायी विभाग की ओर से नोटिफिकेशन भी जारी किया है। इस नोटिफिकेशन के तहत हरियाणा नगरीय क्षेत्र विकास और विनियमन (संशोधन) विधेयक को अधिसूचित किया गया है। इस विधेयक का मुख्य उद्देश्य नगरीय क्षेत्रों में विकास और नियमन के मुद्दों को सही दिशा में ले जाना है।

इस संशोधन के जरिए राज्य के नगरीय क्षेत्रों में उचित योजना और विकास सुनिश्चित किया जाएगा। ‘राज्य सरकार का यह कदम’ उन लोगों के लिए है जो सरकारी योजनाओं और विकास में हमेशा से रुचि रखते थे। अब उन्हें इस पूरे प्रोग्राम के लिए ‘फास्ट ट्रैक’ का लाभ मिलेगा।

अब सर्टिफिकेट लेने की जरूरत नहीं

आखिरकार वो दिन आ ही गया! अब शहरी क्षेत्रों के नागरिकों को समापन प्रमाणपत्र (Completion Certificate) लेने के लिए लंबी-लंबी लाइनों में खड़ा होने की जरूरत नहीं पड़ेगी। इसके बजाय, सरकार ने कॉलोनियों के लिए आंशिक पूर्णता प्रमाणपत्र जारी कर दिया है और अब पूरे क्षेत्र के लिए नया समापन प्रमाणपत्र प्राप्त करने की कोई आवश्यकता नहीं होगी। इस बदलाव से कॉलोनी वासियों को बेहद राहत मिली है।

इस कदम से बुनियादी ढांचा और विकास कार्यों में भी तेजी आएगी। अगर आपने पहले से भवन निर्माण और भूमि उपयोग के लिए ऑक्यूपेशन सर्टिफिकेट (Occupation Certificate) प्राप्त किया है तो अब आपको समापन प्रमाणपत्र के झंझट से पार पाने का मौका मिल गया है।

कॉलोनियों के लिए नया स्वागत

अब, जो लोग पहले से बसी कॉलोनियों में रह रहे थे उनके लिए यह एक बहुत बड़ी खुशखबरी है। सरकार ने 50 साल पुराने नियमों में बदलाव करके उन कॉलोनियों के लिए नए रास्ते खोल दिए हैं जो पहले समापन प्रमाणपत्र (Completion Certificate) के लिए इंतजार कर रहे थे।

“हमने यह बदलाव इसलिए किया है ताकि विकास कार्यों में कोई रुकावट न आए और नागरिकों को बेहतर सुविधाएं मिलें,” मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी ने कहा। अब कॉलोनी वासियों को किसी भी तरह के सर्टिफिकेट के लिए सरकारी दफ्तरों के चक्कर नहीं काटने पड़ेंगे।

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